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Doiwala: बोर्ड परीक्षा में फेल होने पर छात्रा ने खाया जहर, अस्पताल में इलाज के दौरान मौत

  • लेखक की तस्वीर: ANH News
    ANH News
  • 21 अप्रैल
  • 2 मिनट पठन



डोईवाला: शिक्षा व्यवस्था और समाज की उम्मीदों का बोझ एक बार फिर एक मासूम ज़िंदगी पर भारी पड़ गया। कुड़कावाला, डोईवाला निवासी एक किशोरी ने 12वीं कक्षा की बोर्ड परीक्षा में असफल होने के कारण मानसिक तनाव में आकर अज्ञात ज़हरीले पदार्थ का सेवन कर लिया। हालत बिगड़ने पर परिजनों ने उसे तुरंत अस्पताल पहुंचाया, लेकिन तमाम प्रयासों के बावजूद उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई।


घटना की जानकारी मिलने पर कोतवाली डोईवाला से चीता पुलिस टीम को तुरंत अस्पताल भेजा गया। प्रारंभिक पूछताछ में परिजनों ने बताया कि सोमवार को 12वीं बोर्ड का परीक्षा परिणाम घोषित हुआ था, जिसमें छात्रा उत्तीर्ण नहीं हो पाई थी। इसी बात से आहत होकर उसने आत्मघाती कदम उठाया।


छात्रा की बिगड़ती हालत को देख परिजन उसे तत्काल पास के एक अस्पताल ले गए। सूचना मिलते ही कोतवाली डोईवाला से चीता पुलिस की टीम भी मौके पर पहुंची। प्रारंभिक पूछताछ में परिजनों ने बताया कि छात्रा परीक्षा में असफल होने से बेहद निराश थी और इसी मानसिक स्थिति में उसने यह आत्मघाती कदम उठाया।


स्थानीय अस्पताल में प्राथमिक उपचार के बाद छात्रा को गंभीर हालत में जौलीग्रांट हायर सेंटर रेफर किया गया, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। फिलहाल पुलिस ने शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजकर मामले की जांच शुरू कर दी है।


यह दुखद घटना न सिर्फ एक परिवार के लिए गहरा आघात है, बल्कि समाज के लिए भी चेतावनी है। आज के दौर में बच्चों पर शैक्षणिक सफलता का इतना दबाव है कि वे एक परीक्षा में असफलता को जीवन की हार समझ बैठते हैं।


विशेषज्ञों का कहना है कि ऐसे मामलों में परिवार और विद्यालयों की जिम्मेदारी बनती है कि बच्चों को मानसिक मज़बूती, भावनात्मक सहयोग और विफलता को स्वीकार करने की समझ दी जाए।


घटना के बाद से क्षेत्र में शोक और स्तब्धता का माहौल है। समाज को अब यह समझना होगा कि परीक्षा में असफल होना अंत नहीं, बल्कि आत्ममूल्यांकन और पुनः प्रयास का अवसर होता है।

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