कार्तिक पूर्णिमा पर हरिद्वार में उमड़ा आस्था का सैलाब, लाखों श्रद्धालुओं ने लगाई गंगा डुबकी
- ANH News
- 3 घंटे पहले
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हरिद्वार: आज कार्तिक पूर्णिमा का पावन स्नान पर्व है, और इस शुभ अवसर पर हरिद्वार में आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा है। गंगा तट पर श्रद्धालुओं की भीड़ इस कदर उमड़ी कि हरकी पैड़ी से लेकर गंगा घाटों तक भक्तों की आवाजाही लगातार बनी हुई है। धार्मिक मान्यता है कि कार्तिक मास की पूर्णिमा पर गंगा स्नान करने से सभी पापों का नाश होता है और मोक्ष की प्राप्ति होती है। इसी आस्था के चलते लाखों श्रद्धालु दूर-दूर से हरिद्वार पहुंचे हैं, ताकि वे पवित्र गंगा में डुबकी लगाकर पुण्य अर्जित कर सकें।
आधी रात से ही श्रद्धालुओं का आना शुरू हो गया था। ब्रह्म मुहूर्त में जैसे ही पहली किरणें फूटीं, हरकी पैड़ी के घाटों पर "हर हर गंगे" और "जय मां गंगे" के जयकारों से वातावरण गुंजायमान हो उठा। ठंड की सिहरन के बावजूद श्रद्धालुओं का उत्साह कम नहीं हुआ। महिलाएं, बुजुर्ग और युवा सभी गंगा तट पर स्नान के लिए उमड़े। कुछ भक्त दीपदान करते नजर आए, तो कुछ गंगा आरती में शामिल होकर अपने जीवन की मंगलकामना कर रहे थे।

कार्तिक पूर्णिमा को धार्मिक दृष्टि से अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। पुराणों में उल्लेख है कि इस दिन देवता स्वयं गंगा में स्नान करने धरती पर अवतरित होते हैं, इसलिए इसे देव दीपावली के रूप में भी मनाया जाता है। कहा जाता है कि कार्तिक पूर्णिमा का स्नान व्यक्ति को जन्म-जन्मांतर के पापों से मुक्त करता है और जीवन में नई ऊर्जा और पवित्रता का संचार करता है।
श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए प्रशासन ने मेला क्षेत्र को 11 जोन और 36 सेक्टरों में विभाजित किया है। हरकी पैड़ी से लेकर बाहरी पार्किंग क्षेत्रों तक सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद रखी गई है। जल पुलिस की छह टीमें लगातार घाटों पर तैनात हैं ताकि किसी भी दुर्घटना को रोका जा सके। इसके साथ ही बम निरोधक दस्ते, डॉग स्क्वॉड और अभिसूचना इकाई के अधिकारी संवेदनशील स्थानों पर गश्त कर रहे हैं।

स्नान पर्व के दौरान हरकी पैड़ी और आसपास के सभी घाटों पर सीसीटीवी कैमरों के माध्यम से निगरानी रखी जा रही है। महिला श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा के लिए महिला पुलिसकर्मियों की विशेष तैनाती की गई है। प्रशासन और स्थानीय स्वयंसेवी संस्थाओं ने मिलकर व्यवस्था को सुचारू बनाए रखने की पूरी तैयारी की है।
गंगा तट पर आज का दृश्य भक्ति, श्रद्धा और आस्था का अद्भुत संगम बन गया है- जहाँ एक ओर दीपों की रौशनी गंगा की लहरों पर झिलमिला रही है, वहीं दूसरी ओर भक्तों के मुख से गूंजते जयघोष पूरे वातावरण को दिव्यता से भर रहे हैं।





