दिल्ली की CM रेखा गुप्ता को Z श्रेणी सुरक्षा, हमलावर को पांच दिन की पुलिस रिमांड
- ANH News
- 21 अग॰
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अपडेट करने की तारीख: 22 अग॰

दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता को अब Z श्रेणी की सुरक्षा प्रदान की गई है। यह निर्णय केंद्र सरकार द्वारा लिया गया है और सुरक्षा की यह जिम्मेदारी सीआरपीएफ (CRPF) को सौंपी गई है। यह कदम उस घटना के बाद उठाया गया है, जिसमें मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता पर उनके सरकारी आवास पर साप्ताहिक जनसुनवाई के दौरान हमला किया गया था।
क्या हुआ था बुधवार को?
हर बुधवार की तरह, मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता सुबह लगभग 8:15 बजे अपने सिविल लाइंस स्थित सरकारी आवास पर आम जनता की समस्याएं सुन रही थीं। इसी दौरान राजकोट (गुजरात) निवासी राजेश खिमजी भाई सकरिया (41) फरियादी बनकर मुख्यमंत्री से मिलने पहुंचा।
राजेश ने पहले कुछ दस्तावेज मुख्यमंत्री को सौंपे, फिर अचानक तेज आवाज़ में चिल्लाना शुरू कर दिया और मुख्यमंत्री पर शारीरिक हमला कर दिया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, उसने मुख्यमंत्री का हाथ और बाल पकड़कर जोर-जबरदस्ती की, जिससे उनका सिर टेबल के कोने से टकरा गया और उन्हें चोट भी आई। कुछ लोगों ने यह भी दावा किया कि आरोपी ने मुख्यमंत्री को थप्पड़ मारा, हालांकि प्रदेश भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने इस दावे को खारिज किया है।
घटना के बाद सुरक्षा एजेंसियां सतर्क-
हमले के तुरंत बाद, मुख्यमंत्री की सुरक्षा में भारी चूक की खबर मिलते ही दिल्ली पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया।
संयुक्त पुलिस आयुक्त मधुर वर्मा और उपायुक्त राजा बांठिया तत्काल मुख्यमंत्री आवास पहुंचे। मुख्यमंत्री को तुरंत नजदीकी अस्पताल ले जाया गया, जहां उनका प्राथमिक उपचार हुआ।
मुख्यमंत्री पर हमले की सूचना मिलते ही दिल्ली पुलिस, खुफिया एजेंसियां, और विशेष सुरक्षा दल (SPG) भी सक्रिय हो गए। आरोपी को तत्काल काबू में लेकर सिविल लाइंस थाने लाया गया। बाद में भीड़ और सुरक्षा को देखते हुए उसे गोपनीय स्थान पर स्थानांतरित कर पूछताछ की जा रही है।
पुलिस जांच में क्या खुलासा हुआ?
जांच के दौरान सामने आया कि आरोपी राजेश ने पिछले 24 घंटे में मुख्यमंत्री आवास की रेकी की थी। यहां तक कि उसने मंगलवार को मुख्यमंत्री के शालीमार बाग स्थित निजी आवास के आसपास भी चक्कर लगाए थे।
पुलिस ने आरोपी के पास से उसका मोबाइल फोन, आधार कार्ड और अन्य दस्तावेज जब्त किए हैं। पुलिस यह पता लगाने का प्रयास कर रही है कि कहीं वह किसी राजनीतिक साजिश का हिस्सा तो नहीं था, और उसके साथ दिल्ली में और कौन लोग मौजूद थे।
आरोपी की मानसिक स्थिति पर उठे सवाल-
राजेश की मां भानुबेन ने पुलिस को बताया कि उनका बेटा एक "डॉग लवर" है और हाल ही में सुप्रीम कोर्ट के एक फैसले से वह हताश हो गया था।
उनका यह भी कहना है कि राजेश गुस्सैल स्वभाव का है और उसकी मानसिक स्थिति भी सामान्य नहीं है।
भानुबेन के अनुसार, राजेश ने रविवार को प्रदर्शन में शामिल होने की बात कहकर घर छोड़ा था। इस बयान के आधार पर दिल्ली पुलिस ने गुजरात पुलिस से संपर्क कर आरोपी के घर की तलाशी ली है और उसके परिवार के सदस्यों से पूछताछ की जा रही है।
गंभीर धाराओं में केस दर्ज-
हमले के बाद आरोपी के खिलाफ सिविल लाइंस थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 307 (हत्या का प्रयास) सहित कई गंभीर धाराओं में मामला दर्ज किया गया है। आरोपी को दिल्ली पुलिस ने द्वारका स्थित एक मजिस्ट्रेट के निवास पर पेश कर उसे 5 दिन की पुलिस रिमांड पर ले लिया है। गौरतलब है कि आरोपी को तीस हजारी कोर्ट न ले जाकर, सुरक्षा कारणों से किसी गोपनीय स्थान पर पेश किया गया।
मुख्यमंत्री आवास की सुरक्षा और कड़ी-
घटना के बाद मुख्यमंत्री आवास की सुरक्षा व्यवस्था को और कड़ा कर दिया गया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से मुख्यमंत्री को Z श्रेणी की सुरक्षा प्रदान की गई है, जिसके तहत अब करीब 22 से 25 सशस्त्र कमांडो, हर समय मुख्यमंत्री की सुरक्षा में तैनात रहेंगे।
इस हमले ने दिल्ली की सुरक्षा व्यवस्था, खासकर मुख्यमंत्री की सुरक्षा को लेकर कई सवाल खड़े किए हैं। पुलिस और सुरक्षा एजेंसियां अब हर दृष्टिकोण से जांच में जुटी हैं – चाहे वह आरोपी की मानसिक स्थिति हो, उसकी राजनीतिक पृष्ठभूमि, या फिर किसी साजिश का एंगल।
जनता से सीधे संवाद की कोशिश में लगी मुख्यमंत्री पर हुआ यह हमला, आने वाले दिनों में प्रशासन को जनसुनवाई की प्रक्रियाओं की समीक्षा करने को मजबूर कर सकता है।





