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धराली आपदा में राहत और रेस्क्यू जारी, अब तक 480 से ज्यादा लोगों को सुरक्षित निकाला गया

  • लेखक की तस्वीर: ANH News
    ANH News
  • 11 अग॰
  • 3 मिनट पठन
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उत्तराखंड के धराली व हर्षिल क्षेत्र में बीते पांच अगस्त को आई भयंकर प्राकृतिक आपदा के बाद राहत-बचाव कार्य युद्ध स्तर पर जारी है। शनिवार, 10 अगस्त को आपदा के पांचवें दिन भी आपदा प्रभावित क्षेत्रों में फंसे 480 से अधिक लोगों को सकुशल निकाला जा चुका है। रविवार को मौसम की थोड़ी स्थिरता के साथ हेलीकॉप्टर से रेस्क्यू ऑपरेशन फिर से शुरू कर दिया गया है। प्रभावित इलाकों में सेना, आईटीबीपी, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और जिला प्रशासन ने ड्रोन्स, जीपीआर रडार और अन्य आधुनिक उपकरणों के जरिए मलबे के नीचे फंसे लोगों को खोजने में तेजी लाई है। डॉग स्क्वॉड की भी मदद ली जा रही है, ताकि हर संभव जीवन बचाया जा सके।


तेलगाड के मुहाने पर मौजूद मलबा बना नया खतरा, सेना कैंप और हेलिपैड की सुरक्षा पर टिकी निगाहें

हर्षिल क्षेत्र में सेना के कैंप और हेलिपैड को भारी नुकसान पहुंचाने वाली तेलगाड के मुहाने पर जमा मलबा अब भी बड़ा खतरा बना हुआ है। बीते कुछ वर्षों से खीरगंगा क्षेत्र में बुग्याल भूमि पर कटाव की समस्या लगातार बढ़ रही थी, लेकिन इस बार भारी बारिश की वजह से मलबा और पानी के रूप में तबाही की रूपरेखा और भयावह हो गई। मलबा जमा होने के कारण सेना के कैंप और हेलिपैड की सुरक्षा को लेकर सतर्कता बढ़ा दी गई है, क्योंकि यह मलबा कभी भी नई आपदा का रूप ले सकता है।


मातली और चिन्यालीसौड़ हेलीपैड पर रेस्क्यू अभियान तेज, अब तक 177 लोगों को सुरक्षित निकाला गया

अपराह्न तक मातली हेलीपैड पर 124 और चिन्यालीसौड़ हवाई पट्टी पर 53 लोगों को सुरक्षित निकाल कर राहत केंद्रों तक पहुंचा दिया गया है। प्रभावितों को स्वास्थ्य परीक्षण, जरूरी उपचार और निःशुल्क दवाइयां उपलब्ध कराई जा रही हैं। साथ ही, प्रभावित क्षेत्रों तक खाद्य सामग्री और जरूरी सामान की निरंतर आपूर्ति की जा रही है।


जिला प्रशासन ने ड्रोन उड़ाने पर लगाया प्रतिबंध

धराली व हर्षिल क्षेत्र में ड्रोन उड़ाने पर जिला प्रशासन ने प्रतिबंध लगा दिया है। अपर जिला अधिकारी मुक्त मिश्रा ने बताया कि इससे हेली कॉप्टरों के उड़ान संचालन में बाधा उत्पन्न हो सकती है, इसलिए सुरक्षा कारणों से यह कदम उठाया गया है।


कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने राहत कार्यों की सराहना की, सरकार पर साधा निशाना

कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने धराली आपदा प्रभावित इलाकों का दौरा कर पीड़ित परिवारों से मुलाकात की। उन्होंने राहत एवं बचाव कार्यों में भारतीय सेना की भूमिका की जमकर प्रशंसा की। वहीं, उन्होंने राज्य सरकार पर भी निशाना साधते हुए कहा कि पानी और खाने की उचित व्यवस्था नहीं की गई है, जिससे लोगों को कष्ट उठाना पड़ रहा है। उन्होंने विस्थापन की मांग करते हुए मजदूरों और तीर्थयात्रियों की सूची सार्वजनिक करने की भी बात कही।


मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मृतकों के परिजनों को आर्थिक सहायता का किया ऐलान

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उत्तरकाशी और पौड़ी के प्रभावित क्षेत्रों में हाल ही में अपने प्रियजनों को खो चुके परिवारों के प्रति संवेदना जताई। उन्होंने मृतकों के परिजनों को 5 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने का भी ऐलान किया है। इसके अलावा, प्रभावितों के पुनर्वास के लिए भी 5 लाख रुपये की तत्काल राहत राशि प्रदान की जाएगी।


सड़क और पुल निर्माण कार्यों में तेजी, राहत सामग्री का पहुंचना जारी

गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर वैली ब्रिज का निर्माण अंतिम चरण में है। सोनगाड़, डबरानी, हर्षिल, धराली समेत अन्य प्रभावित क्षेत्रों में हाईवे की मरम्मत एवं यातायात सुचारू करने के प्रयास भी तेजी से जारी हैं। साथ ही, राहत सामग्री की खेप भी निरंतर प्रभावित इलाकों तक पहुंचाई जा रही है।


उत्तरकाशी में यूपी के एक परिवार के तीन सदस्य लापता

सहारनपुर, उत्तर प्रदेश के एक परिवार के तीन सदस्य अभी तक धराली आपदा के बाद लापता हैं। सड़क मार्ग बंद होने के कारण वे धराली तक नहीं पहुंच पा रहे हैं और मातली हेलीपैड से प्रशासन से हेलिकॉप्टर सेवा की गुहार लगा रहे हैं।


आपदा की वजहों का अध्ययन शुरू, टीम एक सप्ताह में रिपोर्ट सौंपेगी

मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन ने पौड़ी व धराली में भू-वैज्ञानिकों की एक टीम भेजी है, जो आपदा के कारणों का वैज्ञानिक अध्ययन करेगी। इस टीम से प्राप्त रिपोर्ट के आधार पर भविष्य में सुरक्षा व बचाव के बेहतर प्रबंध किए जाएंगे।


सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक पोस्ट पर कार्रवाई

उत्तराखंड पुलिस ने धराली आपदा को लेकर सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक पोस्ट करने वाले चार व्यक्तियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। पुलिस ने कहा कि ऐसे पोस्ट आपदा प्रभावितों की भावनाओं को ठेस पहुंचाते हैं और आपदा राहत कार्यों में बाधा उत्पन्न करते हैं।

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