तीर्थस्थलों को बनाता था निशाना, 84 मोबाइलों के साथ पकड़ा गया झपटमार
- ANH News
- 4 अक्टू॰
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ऋषिकेश के लक्ष्मणझूला थाना पुलिस ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए मोबाइल चोरी और साइबर धोखाधड़ी में संलिप्त एक शातिर अपराधी को गिरफ्तार किया है। बुधवार को भीमगोड़ा बैराज तिराहे के पास चेकिंग अभियान के दौरान पुलिस ने सतेंद्र उर्फ झपटी नामक आरोपी को धर दबोचा। आरोपी उत्तर प्रदेश के बिजनौर जिले का निवासी है और वर्तमान में हरिद्वार के कड़च्छ मोहल्ला, ज्वालापुर में रह रहा था। उसके पास से पुलिस को कुल 84 चोरी के मोबाइल फोन बरामद हुए हैं, जिनकी अनुमानित बाजार कीमत 20 से 22 लाख रुपये बताई जा रही है।
गिरफ्तारी की यह कार्रवाई तब शुरू हुई जब भारत साधु समाज, स्वर्गाश्रम निवासी भगीरथ ने थाना लक्ष्मणझूला में शिकायत दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि रामझूला के पास फूल और माला बेचने की उनकी दुकान से किसी अज्ञात व्यक्ति ने उनका मोबाइल चोरी कर लिया था। इसके बाद उनके फोन का इस्तेमाल करते हुए साइबर ठगी के माध्यम से उनके बैंक खाते से ₹1,78,000 की निकासी कर ली गई।
शिकायत मिलते ही लक्ष्मणझूला पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की और संदिग्धों पर निगरानी बढ़ा दी। एक अक्टूबर की शाम को चेकिंग के दौरान सतेंद्र उर्फ झपटी पुलिस के हत्थे चढ़ गया। पूछताछ में उसने कई चौंकाने वाले खुलासे किए। सतेंद्र ने बताया कि वह हर तीन महीने में अपना ठिकाना बदलता है ताकि पुलिस की पकड़ में न आ सके। उसने बताया कि उसने हरिद्वार, ऋषिकेश, देहरादून और बिजनौर में गंगा घाटों, आश्रमों, धर्मशालाओं और होटलों में श्रद्धालुओं और पर्यटकों को निशाना बनाया।
वह लोगों से दोस्ती का नाटक कर या फिर पर्यटन जानकारी देने के बहाने उन्हें सुनसान स्थानों पर ले जाता और बातों में उलझाकर उनके बैग और मोबाइल फोन चोरी कर लेता था।
आरोपी सतेंद्र एक आदतन अपराधी है और उसके खिलाफ हरिद्वार, देहरादून, जीआरपी हरिद्वार और बिजनौर के विभिन्न थानों में चोरी, झपटमारी और गैंगस्टर एक्ट के तहत आधा दर्जन से अधिक मुकदमे दर्ज हैं।
पुलिस जांच में यह भी सामने आया कि सतेंद्र ने भगीरथ के मोबाइल से बैंक खाते से ₹1,71,000 की ठगी की कोशिश की थी, जिसमें से ₹90,000 की राशि साइबर सेल द्वारा समय रहते होल्ड कर ली गई, जिससे शिकायतकर्ता को कुछ राहत मिल पाई।
थानाध्यक्ष संतोष पैथवाल ने बताया कि अभियुक्त के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उसे न्यायालय में पेश किया गया है। पुलिस बरामद मोबाइल फोनों की विवरणी तैयार कर उनके वास्तविक मालिकों की पहचान करने में जुटी है।
यह गिरफ्तारी न केवल क्षेत्र में चोरी की घटनाओं के पीछे छिपे बड़े नेटवर्क का पर्दाफाश करती है, बल्कि पुलिस की सक्रियता और साइबर यूनिट के त्वरित कदमों की भी सराहना योग्य मिसाल है।





