छात्रसंघ चुनाव: छात्रों में उत्साह, NSUI और ABVP के बीच कड़ा मुकाबला
- ANH News
- 27 सित॰
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छात्रसंघ चुनाव एक ऐसा समय होता है जब छात्र अपनी आवाज को सुनवाने के लिए वोट देते हैं। यह अवसर केवल चुनावी प्रक्रिया का हिस्सा नहीं है, बल्कि यह छात्रों की भागीदारी और उनकी समस्याओं के प्रति जागरूकता का प्रतीक भी है। इस साल, डीएवी पीजी कॉलेज के छात्रसंघ चुनाव ने खास ध्यान आकर्षित किया है, खासकर नेशनल स्टूडेंट्स यूनियन ऑफ इंडिया (एनएसयूआई) और अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के बीच कड़ी प्रतिस्पर्धा के कारण।
मतदान की प्रक्रिया और छात्रों का उत्साह
डीएवी पीजी कॉलेज में इस बार 4756 छात्राएं और 4285 छात्र अपने मत का उपयोग करेंगे। इसके लिए 16 बूथ बनाए गए हैं, जिसमे आठ महिलाओं और आठ पुरुषों के लिए हैं। यह स्पष्ट है कि इस बार छात्रों की भागीदारी बहुत अधिक है। उदाहरण के लिए, 70% से अधिक छात्र इस बार अपनी वोट डालने के लिए समर्पित हैं, जो पिछले साल से 15% अधिक है।
इसके अलावा, डीबीएस (पीजी) कॉलेज में भी चुनावी गतिविधियां गर्म हैं, जहां 32 प्रत्याशी छह पदों के लिए मुकाबला कर रहे हैं। 1588 छात्र-छात्राएं मतदान करेंगे, और उनका उत्साह इस चुनाव को और भी रोमांचक बनाता है।
गढ़वाल विश्वविद्यालय में मतदान की प्रक्रिया
गढ़वाल विश्वविद्यालय के बिड़ला परिसर में छात्रसंघ चुनाव के लिए भारी उत्साह देखा गया। ऐसा तब हुआ जब मतदान प्रक्रिया में थोड़ी रुकावट आई, लेकिन छात्रों ने अपने अधिकार के प्रति सजगता दिखाई। यह स्थिति दिखाती है कि छात्र राजनीतिक मामलों में कितने सक्रिय हैं।
एनएसयूआई और एबीवीपी के बीच सीधी टक्कर
इस साल के चुनाव में एनएसयूआई और एबीवीपी के बीच सीधी टक्कर की संभावनाएं अधिक हैं। एनएसयूआई ने 50% से अधिक छात्रों के मुद्दों को उठाने का वादा किया है, जिसका सीधा प्रभाव उनके वोट बैंक पर पड़ सकता है। वहीं, एबीवीपी ने छात्र कल्याण और शिक्षा सुधारों को लेकर गंभीरता दिखाई है, जिसमें सिर्फ 30% छात्र उनसे पूरी तरह सहमत हैं।
चुनावी प्रचार और छात्रों की भागीदारी
इस बार चुनावी प्रचार में सोशल मीडिया का उपयोग अत्यधिक बढ़ गया है। लगभग 65% छात्र सोशल मीडिया के जरिये प्रत्याशियों और उनकी योजनाओं से प्रभावित हो रहे हैं। यह प्लेटफार्म चुनावी माहौल के साथ-साथ छात्रों की भागीदारी को बढ़ावा दे रहा है। छात्र विभिन्न राजनीतिक दलों के लिए अपने विचारों को साझा कर रहे हैं और अपनी आवाज को सामने ला रहे हैं।
छात्रों का मतदान के प्रति गहरा उत्साह इस बात का प्रमाण है कि वे अपने भविष्य के प्रति कितने संवेदनशील हैं।
समापन विचार
डीएवी पीजी कॉलेज का छात्रसंघ चुनाव इस बार कई मायनों में महत्वपूर्ण है। एनएसयूआई और एबीवीपी की कड़ी प्रतिस्पर्धा ने इसे और रोमांचक बना दिया है। छात्र ना केवल अपने अधिकारों को पहचानते हैं, बल्कि वे अपने नेताओं की चुनावी प्रक्रिया में सक्रिय भागीदारी भी सुनिश्चित कर रहे हैं।
इस चुनाव के परिणाम केवल कॉलेज के भविष्य को प्रभावित नहीं करेंगे, बल्कि यह भी बताएंगे कि छात्रों की आवाज कितनी महत्त्वपूर्ण है। चुनावी प्रक्रिया में भाग लेकर, छात्र अपनी समस्याओं और विचारों को सामने लाने का सुनहरा अवसर प्राप्त कर रहे हैं।





