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सुसवा नदी पर निर्माणाधीन पुल के निरीक्षण पर पहुंची विश्व बैंक की टीम, निर्माण कार्य की दिशा में नए निर्देश

  • लेखक की तस्वीर: ANH News
    ANH News
  • 24 सित॰
  • 3 मिनट पठन
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हाल ही में, डोईवाला क्षेत्र में सुसवा नदी पर बना पुल एक महत्वपूर्ण चर्चा का विषय बन गया है। विश्व बैंक के अधिकारियों ने इसके निर्माण का निरीक्षण किया। यह परियोजना कई वर्षों से चल रही है और इसमें कई चुनौतियाँ आई हैं। अधिकारियों ने निरीक्षण के दौरान आवश्यक निर्देश दिए ताकि निर्माण कार्य को पुनः शुरू किया जा सके।


विश्व बैंक का निरीक्षण

मंगलवार को, विश्व बैंक की टीम ने सुबह 10 बजे निर्माण स्थल पर पहुंचकर लगभग तीन घंटे तक अधिकारियों के साथ चर्चा की। इस दौरान, उन्होंने पुल निर्माण की तैयारियों का विस्तृत अवलोकन किया। यह निरीक्षण यह सुनिश्चित करने के लिए भी था कि आवश्यक मानकों का पूरी तरह से पालन किया जा रहा है। विश्व बैंक के अधिकारियों ने हजारों किलोमीटर में फैले पुल निर्माण परियोजनाओं का अनुभव साझा किया, जिसमें अधिकतर प्रोजेक्ट्स में 75 प्रतिशत समय की देरी आम है।


अधिकारियों की बैठक

निरीक्षण के बाद, लोक निर्माण विभाग हरिद्वार और कार्यदायी संस्था के अधिकारियों के साथ एक बैठक हुई। इस बैठक में उन्होंने पुल निर्माण की व्यवस्थाओं की गहन समीक्षा की। अधिकारियों ने सहमति व्यक्त की कि निर्माण कार्य को एक सप्ताह के अंदर फिर से शुरू करने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे। इस बैठक में, सुनिश्चित किया गया कि सभी तैयारियां समय के अनुसार हों।


निर्माण कार्य की स्थिति

लोनिवि हरिद्वार के सहायक अभियंता राकेश रावत ने बताया कि विश्व बैंक के अधिकारियों ने निर्माणाधीन पुल का दौरा किया और सभी व्यवस्थाओं की जांच की। उन्होंने पुष्टि की कि सभी आवश्यक संसाधन और तकनीकी सहायता उपलब्ध हैं और कार्य की गति को तेज किया जाएगा। इस पुल का निर्माण केवल भौतिक संरचना नहीं है, बल्कि यह क्षेत्र में कनेक्टिविटी बढ़ाने की दिशा में भी एक महत्वपूर्ण कदम है।


पर्यावरण विशेषज्ञों की भूमिका

इस निरीक्षण में पर्यावरण विशेषज्ञ डॉ. आशा रतूड़ी भी शामिल थीं। उन्होंने इसके पर्यावरणीय प्रभावों पर चर्चा की। पर्यावरण के अनुकूल निर्माण सुनिश्चित करने के लिए हर एक चरण में उनके विचारों को लागू किया जाएगा। जैसे, पुल के लिए उपयोग होने वाले सामग्रियों का चयन करते वक्त पर्यावरणीय मानकों का पालन सुनिश्चित किया जाएगा।


कार्यदायी संस्था की भागीदारी

इस निरीक्षण में कार्यदायी संस्था के कई प्रतिष्ठित अधिकारी भी उपस्थित थे, जिनमें अपर सहायक अभियंता डॉ. सीएल भारती, इंजीनियर वासदेव कुकरेती, गौरव असवाल, अंकित कुड़ियाल, और विनोद पंवार शामिल थे। इन सभी ने एकजुट होकर इस परियोजना में आने वाली समस्याओं का सटीक समाधान खोजने का आश्वासन दिया।


पुल का महत्व

सुसवा नदी पर यह पुल न केवल स्थानीय लोगों के लिए आवागमन को सुगम बनाएगा, बल्कि यह क्षेत्र के विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। पुल के निर्माण से संलग्न क्षेत्रों में व्यापार और पर्यटन को 30 प्रतिशत तक बढ़ावा मिल सकता है, जिससे स्थानीय अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।



विश्व बैंक द्वारा किए गए इस निरीक्षण और अधिकारियों द्वारा दी गई दिशा-निर्देशों से स्पष्ट है कि सुसवा नदी पर निर्माणाधीन पुल का कार्य जल्द ही पुनः शुरू होगा। यह परियोजना न केवल स्थानीय लोगों के लिए, बल्कि पूरे क्षेत्र के विकास के लिए महत्वपूर्ण है। सभी संबंधित अधिकारियों और विशेषज्ञों की मेहनत और समर्पण से यह सुनिश्चित किया जाएगा कि पुल का निर्माण समय पर और गुणवत्ता के साथ पूरा हो।


इस प्रकार, डोईवाला क्षेत्र में सुसवा नदी पर पुल का निर्माण एक महत्वपूर्ण कदम है, जो न केवल स्थानीय परिवहन को सुगम बनाएगा, बल्कि क्षेत्र के विकास में भी सहायक होगा। सभी अधिकारियों और विशेषज्ञों की मेहनत से यह परियोजना सफल होने की ओर अग्रसर है और स्थानीय लोगों को इसका भरपूर लाभ मिलने की संभावना है।


Eye-level view of the construction site of the bridge over the Suswa River
निर्माणाधीन पुल का दृश्य

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